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मिस्र की प्राचीन धरोहर में लगी सेंध: 3000 साल पुराना राजसी किंग ब्रेसलेट हुआ गायब, तलाश अभियान जारी

काहिरा के संग्रहालय से 3000 साल पुराना फिरौन अमेनेमोप का सोने और लैपिस लाजुली से सजा कंगन गायब हो गया है। मिस्र के अधिकारियों ने तलाश के लिए हवाई अड्डों, बंदरगाहों पर कड़ी निगरानी शुरू की है। 

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काहिरा की हलचल भरी गलियों से दूर, तहरीर चौक के दिल में बसे मिस्र के राष्ट्रीय संग्रहालय में एक रहस्यमयी घटना ने सबको चौंका दिया है। कल्पना कीजिए, एक चमकदार सोने का कंगन, जो नीले रत्न लैपिस लाजुली से सजा हुआ है। ये कोई साधारण आभूषण नहीं, बल्कि प्राचीन मिस्र के शक्तिशाली फिरौन अमेनेमोप का व्यक्तिगत सामान था। लगभग 3000 साल पुराना ये कंगन अचानक गायब हो गया है, और अब पूरे देश में इसकी तलाश का बड़ा अभियान छिड़ गया है।

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काफी पहले ही हुई थी चोरी

हालांकि ये घटना कोई नई नहीं है, क्योंकि अधिकारियों ने इसे छिपाकर रखा था। मिस्र के पुरातत्व मंत्रालय के मुताबिक, जांचकर्ताओं को बिना किसी परेशानी के काम करने का मौका देने के लिए खबर को देर से सार्वजनिक किया गया। पहले तो गुप्त जांच चली, तस्वीरें ली गईं और सुराग तलाशे गए, लेकिन जब कुछ हाथ नहीं लगा, तब जाकर दुनिया को बताया गया। अब इस अनमोल विरासत की तस्वीरें मीडिया में फैलाई जा रही हैं, ताकि कोई इसे पहचान सके। साथ ही, तस्करी रोकने के लिए हवाई अड्डों, बंदरगाहों और सीमाओं पर कड़ी निगरानी बिठाई गई है। हर आने-जाने वाले पर पैनी नजर है।

कैसे पता चला इस गुमशुदगी का?

दरअसल, संग्रहालय के कर्मचारी अगले महीने रोम में होने वाली एक बड़ी पुरातात्विक प्रदर्शनी के लिए वस्तुओं को तैयार कर रहे थे। दर्जनों कीमती चीजों की सूची बनाते हुए उन्हें अहसास हुआ कि ये कंगन कहीं नहीं मिल रहा। मिस्र के प्रमुख अखबार ‘अल-मसरी अल-यूम’ ने इसकी पुष्टि की है।

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कैम्ब्रिज विश्वविद्यालय के पुरातत्व विशेषज्ञ क्रिस्टोस त्सिरोगियानिस इस घटना पर बिलकुल हैरान नहीं हैं। उन्होंने बताया कि ऐसी दुर्लभ वस्तुओं का काला बाजार बहुत बड़ा है, जहां करोड़ों की बोली लगती है।

फिरौन के इस कंगन का क्या अंजाम होगा?

अगर इसे देश से बाहर smuggle किया गया, तो शायद किसी अंतरराष्ट्रीय नीलामी में या फर्जी कागजों के साथ ऑनलाइन बेचा जाएगा।

एक डरावना विकल्प ये है कि तस्कर इसे पिघलाकर सिर्फ सोना बेच दें, लेकिन इससे ज्यादा फायदा नहीं होगा, क्योंकि इसका ऐतिहासिक मूल्य लाखों गुना ज्यादा है, जबकि पिघला सोना तो बस सामान्य धातु बन जाएगा। ऐसी स्थिति में इसे ट्रैक करना नामुमकिन हो सकता है।

या फिर, ये किसी अमीर संग्राहक की निजी गैलरी में छिपा दिया जाए, जहां सालों तक किसी की नजर न पड़े। कभी-कभी ऐसे संग्राहक बाद में इसे वापस लौटा भी देते हैं, लेकिन ये दुर्लभ है।

मिस्र लंबे समय से अपनी सांस्कृतिक धरोहर को लुटेरों से बचाने की जंग लड़ रहा है। पिछले साल ही, अलेक्जेंड्रिया के पास समुद्र से निकाली गईं सैकड़ों प्राचीन कलाकृतियों की तस्करी के आरोप में दो लोग पकड़े गए थे। ये घटना याद दिलाती है कि इतिहास की ये निशानियां सिर्फ पत्थर या सोना नहीं, बल्कि एक सभ्यता की आत्मा हैं। क्या ये कंगन कभी वापस मिलेगा? तलाश जारी है, और दुनिया की निगाहें मिस्र पर टिकी हैं।

Keywords – Ancient Egypt, Pharaoh Amenemope, Missing Bracelet, Cairo Museum, Gold Artifact, Lapis Lazuli, Archaeological Theft, Egyptian Heritage

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