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शनि शिंगणापुर मंदिर पर महाराष्ट्र सरकार का नियंत्रण, नाशिक कुंभ मेले की तैयारियों के लिए उच्चस्तरीय समितियां गठित

महाराष्ट्र सरकार ने शनि शिंगणापुर मंदिर में पारदर्शिता और अनुशासन लाने के उद्देश्य से मंदिर प्रबंधन अपने हाथ में ले लिया है। साथ ही, 2027 में होने वाले नाशिक कुंभ मेले की तैयारियों की निगरानी के लिए मुख्यमंत्री और मुख्य सचिव की अध्यक्षता में दो समितियां बनाई गई हैं।

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महाराष्ट्र सरकार ने राज्य के अहम धार्मिक स्थलों में शामिल शनि शिंगणापुर मंदिर के प्रबंधन को अपने हाथ में लेने का फैसला किया है। अहमदनगर (अब अहिल्यानगर) जिले में स्थित यह मंदिर वर्षों से विवादों में घिरा रहा है। वित्तीय अनियमितताओं, कर्मचारियों की नियुक्ति में गड़बड़ी, फर्जी एप से जुड़ा मामला और मंदिर परिसर के मंच को लेकर विवाद ने स्थानीय स्तर पर अव्यवस्था पैदा कर दी थी। हालात तब गंभीर हो गए जब मंदिर ट्रस्ट से जुड़े एक अधिकारी ने आत्महत्या कर ली। इसके बाद सरकार ने “श्री शनेश्वर मंदिर ट्रस्ट मैनेजमेंट अधिनियम, 2018” को लागू करते हुए जिला कलेक्टर को प्रशासक नियुक्त किया है।

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2018 का कानून अब हुआ लागू

गौरतलब है कि शनि शिंगणापुर मंदिर ट्रस्ट मैनेजमेंट अधिनियम 2018 में ही पारित हुआ था और राज्य राजपत्र में प्रकाशित भी किया गया था, लेकिन अब तक इसे लागू नहीं किया गया था। सरकार का कहना है कि भक्तों का विश्वास बनाए रखने और व्यवस्थाओं में अनुशासन लाने के लिए पारदर्शी और जवाबदेह प्रबंधन आवश्यक है। आदेश के मुताबिक, 22 सितंबर 2025 से अधिनियम को प्रभावी कर दिया गया है और जब तक पूर्णकालिक ट्रस्ट मैनेजमेंट समिति गठित नहीं होती, तब तक अहिल्यानगर के जिला कलेक्टर मंदिर प्रशासन की जिम्मेदारी संभालेंगे।

नाशिक कुंभ मेले की तैयारियों के लिए उच्चस्तरीय समितियां

इसी बीच, राज्य सरकार ने आगामी नाशिक कुंभ मेले की तैयारियों पर भी जोर दिया है। मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में एक 40 सदस्यीय समिति बनाई गई है जो कुंभ मेले की संपूर्ण योजना को मंजूरी देगी और उसके क्रियान्वयन पर नजर रखेगी। इस समिति में दोनों उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और अजित पवार, 12 मंत्री, सांसद, विधायक, मुख्य सचिव और विभिन्न विभागों के सचिव शामिल हैं। साथ ही रेलवे, पुलिस और स्थानीय निकायों के अधिकारी भी समिति का हिस्सा बनाए गए हैं।

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कार्यकारी समिति की भूमिका

मुख्य सचिव की अध्यक्षता में गठित 26 सदस्यीय कार्यकारी समिति विकास कार्यों की समीक्षा करेगी और योजनाओं को अमल में लाने की प्रक्रिया की निगरानी करेगी। इसमें राज्य सरकार के विभिन्न विभागों और नाशिक के प्रशासनिक अधिकारियों को जोड़ा गया है। इससे पहले सरकार ने मंत्री गिरीश महाजन की अध्यक्षता में एक समिति की भी घोषणा की थी। सरकार का कहना है कि इन समितियों का उद्देश्य मेले को सुरक्षित, सुव्यवस्थित और सफल बनाना है, ताकि देश-विदेश से आने वाले लाखों श्रद्धालुओं को बेहतर सुविधाएं और प्रबंधन मिल सके।

KeywordsShaneshwar Temple, Shani Shingnapur, Maharashtra government, Ahilyanagar district, Shree Shaneshwar Temple Trust Management Act 2018, Nashik Kumbh Mela, Eknath Shinde

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